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गुनाह क्या है Gunah Kya Hai

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अस्सलामु अलैकुम दोस्तों में इस आर्टिकल में गुनाह के बारे में बताना चाहता हूँ,के गुनाह से दुनिया और आख़िरत में नुकसान क्या है,और दुनियावी ज़िन्दगी में गुनाह के असरात क्या होते हैं ,लेकिन सबसे पहले यह समझ लीजिए के गुनाह किसे कहते हैं !

गुनाह क्या है

शरई अहकाम की ख़िलाफ वर्ज़ी  का नाम गुनाह है, यानी जिस काम के करने का हुक्म अल्लाह व रसूल ने दिया है उसको न करना, और जिससे मना किया है उसको करना, गुनाह है! गुनाह (हराम) को हलाल जानना कुफ्र है, गुनाहों की वजह से दिल में सख्ती और स्याही पैदा होती है, और ईमान ज़ईफ (कमज़ोर) हो जाता है।

गुनाह से नुक़सानात

गुनाह इन्सान को अल्लाह से दूर सवाब से महरूम और अज़ाब का हक़दार बना देता है। हदीस शरीफ में आया है कि गुनाह करने से इन्सान के दिल पर एक स्याह नुक़्ता पैदा होता है जो तौबा करने पर दूर होता है, लेकिन अगर कोई शख़्स गुनाह करता है और तौबा ना करे तो वह स्याह नुक़्ता दिन ब दिन कसरते  गुनाह से बढ़ जाता और यहां तक फैलता है कि तमाम दिल को स्याह कर देता है, जब नौबत यहां तक पहुँचती है तो फिर उसके दिल पर वअज़  व नसीहत का कोई असर नहीं होता। हर मुसलमान पर लाज़िम है कि हमेशा हर गुनाह से बचता रहे। अगर कभी कोई गुनाह सरज़द हो जाये तो फौरन तौबा कर ले। 

अल्लाह हम सबको गुनाहों से बचने की तौफ़ीक़ आता फरमाए , आमीन 

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